सौरमंडल की इन ग्रहों पर होती है हीरों की बारिश | पृथ्वी पर आ जाएं तो हो जाए हर व्यक्ति अरबपति | interesting facts about space in hindi

Chandrayaan-3 को मीडिया में जबरदस्त कवरेज मिलने के बाद से लोगों में अंतरिक्ष को लेकर काफी जागरूकता आई है और लोग इसके बारे में जानना चाहते हैं. वास्तव में ब्रह्मांड के एक हिस्से के रूप में पृथ्वी का अस्तित्व ऐसे है जैसे समुद्र तट के रेत में रेत का एक कण. आज विज्ञान भले ही बहुत कुछ खोज लेने और जानने का दावा करता है, लेकिन सत्य यह है कि ब्रह्मांड के अरबवें हिस्से के बराबर भी विज्ञान अभी नहीं जान पाया है. 

फिलहाल आज हम अंतरिक्ष से जुड़े एक ऐसे रहस्य के बारे में आपको बताने जा रहे हैं जिसे जानकर आप हैरान रह जाएंगे. दोस्तों क्या आप जानते हैं कि अंतरिक्ष में 2 ग्रह ऐसे हैं जहां पर अक्सर हीरों की बारिश होती है. जी हां बिल्कुल सही पढ़ा आपने. जैसे पृथ्वी पर पानी की बूंदे गिरती है वैसे ही इन ग्रहों पर हीरे गिरते हैं. 

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अगर मिल जाएं तो धरती का हर शख्स हो जाए अरबपति

इन इन ग्रहों पर हीरों की बारिश कितनी बड़ी मात्रा में होती है इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि यदि किसी तरीके से एक ग्रह के हीरों को पृथ्वी पर लाया जा सके तो पृथ्वी के सभी इंसानों को अरबपति बनाया जा सकता है. 

किस ग्रह पर होती है हीरे की बारिश

दोस्तों आज जिन ग्रहों के बारे में हम आपको बताने जा रहे हैं वह है और यूरेनस यानी अरुण और वरुण. यह सूर्य मंडल के ऐसे ग्रह हैं जिनकी चर्चा आमतौर से बहुत कम ही होती है. यही कारण है कि बहुत सारे लोग इन ग्रहों के बारे में नहीं जानते. 

धरती से सबसे ज्यादा दूर रहने वाले इन दोनों ग्रहों पर तापमान शून्य से 200 डिग्री सेल्सियस तक नीचे रहता है और यहां पर जमी हुई मीथेन के बादल उड़ते रहते हैं. 

क्यों होती है हीरो की बारिश? | हीरो की बारिश कैसे होती है

अगर आप यह सोच रहे होंगे कि आखिर इन ग्रहों पर हीरों की बारिश क्यों होती है तो आपको बता दें कि मीथेन में हाइड्रोजन और कार्बन होता है जब मीथेन पर अधिक दबाव बनता है तो हाइड्रोजन और कार्बन अलग हो जाते हैं. यही कार्बन बाहरी दबाव के कारण हीरे में तब्दील हो जाता है और नीचे गिरने लगता है यही कारण है कि इन गृहों पर हीरों की बारिश होती है. 

योगिक रूप में इन ग्रहों पर इतना ज्यादा हीरा मौजूद है जिसकी कोई सीमा नहीं है. इन ग्रहों पर यह हीरे वैज्ञानिक प्रक्रिया के कारण लगातार निर्मित होते रहते हैं.

क्या पृथ्वी पर लाए जा सकते हैं हीरे

वर्तमान में विज्ञान ने इतनी प्रगति नहीं की है कि इन ग्रहों से हीरों को पृथ्वी पर लाया जा सके, दरअसल इन ग्रहों का तापमान इतना नीचे चला जाता है कि कोई भी इंसान वहां जाते ही जम जाए उसकी सतह लगभग पूरी तरह समतल है यही नहीं इन ग्रहों पर हवा की रफ्तार सौरमंडल के दूसरे किसी भी ग्रह से बहुत अधिक होती है. वैज्ञानिकों का मानना है कि इन ग्रहों पर मीथेन की हवाएं सुपर सोनिक रफ्तार से चलती है. ऐसे में यहां मानव तो छोड़िए मानवरहित विमानों को भेजना भी नामुमकिन है यही कारण है कि वहां से हीरों को धरती पर लाना वर्तमान तकनीक में असंभव है. 

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